Skip to content
    4/5 - (1 vote)

    Microsoft Windows Operating System | माइक्रोसाफ्ट विंडोज ऑपरेटिंग सिस्टमः-

    इसे माईक्रोसाफ्ट कंपनी द्वारा विकसित किया गया है, इसका ऑफिशियल नाम ‘‘माईक्रोसाफ्ट विन्डोज‘‘ (Microsoft Windows Operating System) है। 

    Table of Contents

    यह ग्राफिकल यूजर इंटरफेस प्रदान करता है।

    इस ऑपरेटिंग सिस्टम में एक आयताकार विंडो होती है,

    जिसमें हम कम्प्यूटर पर सभी कार्य करते है। 

    माईक्रोसाफ्ट विन्डोज में प्रत्येक स्क्रीन को एक विंडो ही कहते है।

    वर्तमान में हम जो माईक्रोसाफ्ट विन्डोज ऑपरेटिंग सिस्टम उपयोग करते है,

    वह बहुत एडवांस फीचर्स के साथ उपलब्ध है। 

    माईक्रोसाफ्ट विन्डोज ऑपरेटिंग सिस्टम दो प्रकार के फीचर्स में उपलब्ध है, होम तथा प्रोफेसनल। 

    जहां होम वर्जन में सामान्य उपयोग में आने वाले सभी फीचर्स उपलब्ध होते है तथा प्रोफेसनल वर्जन में कुछ अधिक फीचर्स उपलब्ध होते है।

    माईक्रोसाफ्ट विन्डोज ऑपरेटिंग सिस्टम के विभिन्न वर्जन | Different Version of Microsoft Windows Operating System:-

    माईक्रोसाफ्ट विन्डोज का सबसे पहला वर्जन वर्ष 1985 में लांच किया गया था। 

    इसके बाद नए-नए फीचर्स के साथ इसके बहुत सारे वर्जन आते रहे। 

    वर्तमान में सबसे अधिक विंडोज 10 वर्जन का उपयोग हो रहा है तथा हालही में विन्डोज 11 लांच किया गया है।

    1. विंडोज 1.0 | Windows 1.0 (Microsoft Windows Operating System):-

    यह विंडोज का पहला वर्जन है। जिसे वर्ष 1985 में रिलीज किया गया था।

    यह माईक्रसाफ्ट कंपनी का पहला ग्राफिकल यूजर इंटरफेस इनेबल ऑपरेटिंग सिस्टम था,

    जो 16-बिट कम्प्यूटर के लिए बनाया गया था।

    2. विंडोज 2.0 | Windows 2.0 (Microsoft Windows Operating System):-

    यह विंडोज का दूसरा वर्जन है, जो कि वर्ष 1987 में आया था, इसके साथ ही विंडोज 386 भी लांच किया गया था।

    इस वर्जन में विंडो को मिनिमाईज तथा मेक्जीमाईज करने के विकल्प को जोडा गया था,

    इसमें कंट्रोल पेनल को एड किया गया साथ ही इसमें पहली बार एम.एस. वर्ड तथा एम.एस. एक्सेल का उपयोग किया गया था।

    3. विंडोज 3.0 | Windows 3.0 (Microsoft Windows Operating System):-

    इसे वर्ष 1990 में रिलीज किया गया था।

    यह पहला विंडोज था जिसके चलाने के लिए हार्ड ड्राइव की आवश्यकता होती है।

    इसमें एम.एस. डॉस के प्रोग्राम को भी उपयोग किया जा सकता है।

    4. विंडोज 3.1 | Windows 3.1 (Microsoft Windows Operating System):-

    इसे वर्ष 1992 में लांच किया गया था, इसमें माउस के द्वारा एम.एस. डॉस के प्रोग्राम को चलाया जा सकता है।

    साथ ही यह पहला विंडोज ऑपरेटिंग सिस्टम था, जो सी.डी. रोम पर उपलब्ध है।

    1. विंडोज एन.टी. | Windows NT :- 

    इसे वर्ष 1993 में लांच किया गया था, 

    इसे मुख्यतः व्यवसायिक क्षेत्र के लिए बनाया गया है।

    फीचर्सः-

    1. इसमें हाई लेवल लैंग्वेज का उपयोग होता है।
    2. इसमें 32 बिट एप्लिकेशन उपलब्ध है।
    3. यह मल्टीटॉस्किंग को सपोर्ट करता है।

    6. विंडोज 95 | Windows 95:-

    इसे वर्ष 1995 में लांच किया गया था

    इसमें निम्न फीचर्स हैः-

    1. यह 16 बिट तथा 32 बिट दोनो को सपोर्ट करता है।
    2. यह मल्टी डिस्प्ले तथा इन्टरनेट एक्सप्लोरर को सपोर्ट करता है।
    3. इसमें टॉस्क बार को इन्ट्रोड्यूज किया गया है।

    7. विंडोज 98 | Windows 98:-

    इसे वर्ष 1998 में लांच किया गया था।

    फीचर्सः-

    1. इसमें सबसे पहली बार विंडोज ड्राइवर मॉडल को उपयोग किया गया है।
    2. इसमें यू.एस.बी तथा डी.वी.डी. को उपयोग किया जा सकता है।
    1. विंडोज एम.ई. | Windows ME

    इसे वर्ष 2000 में लांच किया गया था, इसका पूरा नाम विंडोज मिलेनियम एडिशन है, 

    यह विंडोज 98 का अपग्रेड वर्जन है।

    फीचर्सः-

    1. यह 8 तथा इससे अधिक सी.पी.यू. को भी सपोर्ट करता है।
    2. इसकी निम्नतम आंतरिक मेमोरी 4 एम.बी. के लगभग तथा अधिकतम मेमोरी 4 जी.बी. है।
    3. इसमें एम.यू.आई. अथवा मल्टीलिंग्वल यूजर इंटरफेस को इंट्रोड्यूज किया गया था।
    1. विंडोज एक्स.पी. | Microsoft Windows Operating System XP or Windows XP

    इसे वर्ष 2001 में रिलीज किया गया था।

    इसके दो वर्जन रिलीज किए गए थे,

    एक पर्सनल उपयोग हेतु तथा दूसरा प्रोफेशनल उपयोग हेतु।

    फीचर्सः-

    1. यह मल्टी यूजर को सपोर्ट करता है, अर्थात इसमें एक से अधिक यूजर बनाए जा सकते है।
    2. यह सी.डी.रोम, डी.वी.डी. रोम, स्पीकर तथा हेडफोन को सपोर्ट करता है।
    1. विंडोज विस्टा | Windows Vista:-

    इसे वर्ष 2007 में रिलीज किया गया था।

    यह कम्प्यूटर, लेपटॉप, टेबलेट आदि सभी के लिए उपयोग किया जा सकता है।

    1. विंडोज 7 | Windows 7:-

    यह विंडोज एक्स.पी. तथा विंडोज विस्टा का एडवांस वर्जन है, जिसे वर्ष 2009 में लांच किया गया था।

    12. विंडोज 8 | Windows 8:-

    इसे 2012 वर्ष में लांच किया गया था।

    13. विंडोज 10 | Microsoft Windows Operating System 10 or Windows 10 :-

    इसे वर्ष 2015 में रिलीज किया गया था।

    यह सबसे अधिक उपयोग किया जाने वाला विंडोज ऑपरेटिंग सिस्टम है।

    यह सभी प्रकार की कम्प्यूटर डिवाईसों के लिए बनाया गया है।

    इसमें फास्ट स्टार्ट-अप तथा रिज्यूम, एक्सपेंडेड स्टार्ट मेन्यू आदि फीचर्स को जोडा गया।

    साथ ही इसमें माईक्रोसाफ्ट एज ब्राउजर को भी जोडा गया है।

    14. विंडोज 11| Microsoft Windows 11:-

    हालही में विंडोज के द्वारा विंडोज 11 को लांच किया गया है।

    इसमें नई विजुअल डिजाईन, अपडेटेड एप, टच स्क्रीन ऑप्टिमाइजेंशन, मल्टीटॉस्किंग फचर्स को जोड़ा गया है।

    विंडोज ऑपरेटिंग सिस्टम में स्क्रीन/विंडो की संरचना | Structure of Screen/Window in Microsoft Windows Operating System:-

    जैसा कि नाम से ही दर्शित है इस ऑपरेटिंग सिस्टम में सभी स्क्रीन विंडो की तरह होती है।

     जिसकी एक निश्चित संरचना होती है, अर्थात प्रत्येक स्क्रीन की कुछ प्रापर्टी एक जैसी होती है, 

    जैसे सभी को मिनिमाईज तथा मेग्जिमाईज किया जा सकता है। 

    यहां हम विंडोज 10 ऑपरेटिंग सिस्टम के माध्यम से इसकी संरचना बता रहे हैः-

    1. एप्लिकेशन विंडो | Application Window:-

    विंडो की संरचना में सबसे पहले हम एप्लिकेशन विंडो को समझेंगे। 

    विंडोज ऑपरेटिंग सिस्टम में जब भी किसी आईकन को क्लिक किया जाता है, 

    तो एक नई विंडो ओपन होती है, इस नई विंडो को ही हम एप्लिकेशन विंडो के रूप में समझते है। 

    अलग-अलग प्रोग्राम, साफ्टवेयर तथा फीचर्स के लिए यह नई विंडो अलग-अलग हो सकती है, 

    अर्थात इनमें अलग-अलग विकल्प हो सकते है, लेकिन सभी एप्लिकेशन विंडो में कुछ विकल्प निश्चित होते है, जो सभी विंडो में होते ही है, जो कि निम्न हैः-

    (यहां हम फाईल मैनेजर अर्थात My Computer या This PC आईकन की विंडो के माध्यम से समझेंगे)

    1.1 टाईटल बार | Title Bar:-

    किसी भी आईकन को क्लिक करने पर एक नई विंडो ओपन होती है, 

    विंडो में सबसे ऊपर उस आईकन से संबंधित प्रोग्राम अथवा फाईल का नाम दिखाई देता है, 

    इसे टाईटल बार कहते है। इसमें निम्न विकल्प भी संलग्न रहते हैः-

    1. मिनिमाईज बटनः- इस बटन पर क्लिक करने पर खुली हुई विंडो मिनिमाईज होकर छिप जाती है तथा टास्क बार पर आईकन में रूप में ही दिखाई देती है, तथा टॉस्कबार पर आईकन को पुनः क्लिक करने पर विंडो वापिस दिखाई देने लगती है। यह टाईटल बार में स्क्रीन पर दांयी तरफ होती है।
    2. मेग्जिमाईज/रिस्टोर बटनः- इस बटन पर क्लिक करके विंडो को जूम-इन तथा जूम-आउट किया जा सकता है। यह टाईटल बार में स्क्रीन पर दांयी तरफ होती है।
    3. क्लोज बटनः- इस बटन के द्वारा विंडो अर्थात प्रोग्राम या फाईल को बंद किया जा सकता है। यह टाईटल बार में स्क्रीन पर दांयी तरफ होती है।
    4. क्विक एक्सेस टूलबारः- जिस प्रोग्राम से संबंधित विंडो ओपन होती है, उस प्रोग्राम से संबंधित कुछ सामान्य विकल्प जो कि बार-बार उपयोग में आते है, की एक सूची टाईटल बार में स्क्रीन के दांयी ओर दिखाई देती है, इसे क्विक एक्सेस टूलबार कहते है, इसमें सामान्यतः अनडू, रीडू, डिलीट, प्रोपर्टी आदि विकल्प होते है।

    1.2 मेनू बार | Menu Bar:-

    प्रत्येक विंडो में टाईटल बार के नीचे एक मेनू बार होता है। 

    जिस प्रोग्राम से संबंधित विंडो होती है, उससे संबंधित ही मेनू बार में मेनू होते है।

    1.3. वर्क एरिया या प्रोग्राम एरिया | Work Area or Program Area:-

    मेनू बार के नीचे उस प्रोग्राम से संबंधित अन्य विकल्प अथवा उस प्रोग्राम द्वारा कोई कार्य किए जाने के लिए वर्क एरिया उपलब्ध होता है।

    2. होम स्क्रीन अथवा विंडो | Home Screen/window:-

    जैसे ही कम्प्यूटर स्टार्ट हो जाता है अर्थात बूटिंग प्रक्रिया खत्म होती है, तब जो पहली स्क्रीन, जिसमें आईकन आदि दिखाई देते है, 

    उसे होम स्क्रीन या होम विंडो कहते है। 

    हम किसी भी प्रोग्राम, फाईल अथवा एप्लिकेशन का आईकन अथवा उसका शॉर्टकट होम स्क्रीन पर बना सकते है। 

    होम स्क्रीन में निम्नलिखित काम्पोनेंट होते हैः-

    2.1 आईकन तथा बेसिक आईकन | Icon and Basic Icon:-

    विंडोज ऑपरेटिंग सिस्टम में सभी प्रोग्राम, साफ्टवेयर तथा फीचर्स आदि आईकन के रूप में होते है, 

    जिन्हें माउस के माध्यम से क्लिक करके ओपन किया जा सकता है। 

    जब विंडोज ऑपरेटिंग सिस्टम पहली बार कम्प्यूटर में इंस्टॉल किया जाता है, 

    तो निम्न आईकन मुख्य रूप से कम्प्यूटर की होम स्क्रीन पर होते हैः-
    1. माय कम्प्यूटर अथवा धिस पी.सी.- यह कम्प्यूटर का फाईल मैनेजर होता है, जिसमें कम्प्यूटर की सभी फाईले तथा उनकी लोकेशन उपलब्ध होती है। इस पर डबल क्लिक करने पर एक नई विंडो खुलती है। जिसकी इमेज नीचे दी गई है।
    2. रिसायकल बिन अथवा ट्रेसः- जब भी कोई फाईल डिलीट की जाती है, तब वह फाईल रिसाइकल बिन में सेव हो जाती है, जिसे आप तब तक रिस्टोर कर सकते है, जब तक कि उस फाईल को रिसायकल बिन से डिलीट नहीं कर दी जाती। यदि आप चाहते है कि कोई फाईल डिलीट होने के बाद रिसायकल बिन में सेव न हो तो उस फाईल को सेलेक्ट करके की-बोर्ड की शिफ्ट बटन दबाए हुए डिलीट बटन दबाए तथा फाईल को डिलीट करें, इससे फाईल परमानेंट डिलीट हो जाती है।
    3. माईक्रसाफ्ट एजः- यह इंटरनेट ब्राउजर है, जो कि विंडोज 10 ऑपरेटिंग सिस्टम में बाय-डिफाल्ट आता है। इससे पूर्व विंडोज में इंटरनेट एक्सप्लोरर इंटरनेट ब्राउजर आता था, जिसे अब बंद कर दिया गया है।

    3. टॉस्क बार | Task Bar:-

    विंडो के सबसे नीचे एक होरिजोन्टल लाईन होती है, जिस पर ओपन किए गए आईकन की एक छोटी इमेज दिखाई देती है, 

    हम स्क्रीन पर दिखाई दे रहे आईकन अथवा किन्ही प्रोग्राम 

    जैसे केलकुलेटर, फाईल मैनेजर, गूगल क्रोम ब्राउजर आदि को टास्कबार पर पिन भी कर सकते है अर्थात उनकी एक छोटी इमेज को हमेशा के लिए टास्कबार पर जोडा जा सकता है, 

    तथा उस इमेज पर क्लिक करके उस प्रोग्राम की विंडो को ओपन किया जा सकता है। 

    यह होरिजोंटल होती है, विंडोज 10 में हम इसे होरिजोंटल टॉप, वर्टिकल लेफ्ट, वर्टिकल राईट आदि दिशा में भी रख सकते है।

    साथ ही अन्य विकल्प भी होते है | There are many other options available in Microsoft Windows Operating System:-

    1. स्टार्ट बटनः- विंडोज 10 में स्टार्ट बटन के लिए विंडोज का लोगो बना होता है, जिसे क्लिक करने पर कम्प्यूटर में उपलब्ध सभी फीचर्स, सेटिंग्स तथा प्रोग्राम की लिस्ट दिखाई देने लगती है, जिस पर क्लिक करके हम उनसे संबंधित विंडो को ओपन कर सकते है। यह स्क्रीन पर बांयी तरफ होती है।
    2. सर्च बटनः- विंडोज 10 में यह विकल्प बहुत महत्वपूर्ण है, आप किसी प्रोग्राम, सेटिंग अथवा फीचर्स का नाम टाईप करके उसे ढूंढ सकते है। यह स्क्रीन पर बांयी तरफ होती है।
    3. अन्य विकल्पः- इनके अलावा भी कई विकल्प जैसे टाईम एण्ड डेट डिस्प्ले, लैंग्वेज डिस्प्ले, नेटवर्क आईकन, स्पीकर आईकन, षॉर्टकट आईकन भी होते है।

    SHARE YOUR THOUGHT or LEAVE A COMMENT

    Your email address will not be published. Required fields are marked *